Bansi Dhameja
10-10-2013, 11:52 AM
ऐ मेरे सैंडल संभल जा मिल गयी मंज़िल तुझे…bansi
एक लड़के और एक लड़की की गुफ्तगू
लड़के ने लड़की से कहा
आपकी नज़रों ने समझा प्यार के काबिल मुझे
ऐ मेरे सैंडल संभल जा मिल गयी मंज़िल तुझे
माफ़ करना बहनजी ग़लतफहमी हो गयी मुझे
आगे बड़ा हाथ अपना पहिना दूं राखी तुझे
रोज़ का मेरा काम है मिलेंगी कितनी राखिएें मुझे
जब बहन बोला मुझे है राखी तो पहनी पड़ेगी तुझे
ऐसी बात है अगर तो बहिना पहना दो राखी मुझे
मैं इक्लोता लड़का हूँ बना लो भाई मुझे
डूंड दूँगी दुल्हन ऐसी याद रखेगा मुझे
मगर शरत है फिर कभी ऐसा ना करना होगा तुझे
हर औरत को इज़त से देखूँगा देता हूँ वचन तुझे
मंज़ूर है मेरी बहना सारी तेरी शर्तें मुझे
ऐ मेरे सैंडल नीचे हो जा मिल गया भाई मुझे
बहन मेरी है ना कोई मिल गयी बहना मुझे
मिल गया भाई मुझे मिल गई बहना मुझे
बंसी(मधुर)
एक लड़के और एक लड़की की गुफ्तगू
लड़के ने लड़की से कहा
आपकी नज़रों ने समझा प्यार के काबिल मुझे
ऐ मेरे सैंडल संभल जा मिल गयी मंज़िल तुझे
माफ़ करना बहनजी ग़लतफहमी हो गयी मुझे
आगे बड़ा हाथ अपना पहिना दूं राखी तुझे
रोज़ का मेरा काम है मिलेंगी कितनी राखिएें मुझे
जब बहन बोला मुझे है राखी तो पहनी पड़ेगी तुझे
ऐसी बात है अगर तो बहिना पहना दो राखी मुझे
मैं इक्लोता लड़का हूँ बना लो भाई मुझे
डूंड दूँगी दुल्हन ऐसी याद रखेगा मुझे
मगर शरत है फिर कभी ऐसा ना करना होगा तुझे
हर औरत को इज़त से देखूँगा देता हूँ वचन तुझे
मंज़ूर है मेरी बहना सारी तेरी शर्तें मुझे
ऐ मेरे सैंडल नीचे हो जा मिल गया भाई मुझे
बहन मेरी है ना कोई मिल गयी बहना मुझे
मिल गया भाई मुझे मिल गई बहना मुझे
बंसी(मधुर)