vaibhav srivastava
16-12-2013, 06:47 PM
चाँद आज अकेला अकेला सा क्यों है
हवाओं का रंग बदला बदला सा क्यों है
जब उसके दिल में कुछ था ही नही मेरी खातिर
तो मुझमें जिंदा ये प्यार आज तक क्यों है
वैसे तो मेरी आँखों ने कई बार छुआ है तुझको
मेरे ख्वाबो ने हमेशा ही सोचा भी है तुझको
जो छुआ था एक रात तूने सपने में
उस छुअन का एहसास आजतक क्यों है
Here is my blog.... Pls view it.
http:// _ _ _ _ _ (edited)
हवाओं का रंग बदला बदला सा क्यों है
जब उसके दिल में कुछ था ही नही मेरी खातिर
तो मुझमें जिंदा ये प्यार आज तक क्यों है
वैसे तो मेरी आँखों ने कई बार छुआ है तुझको
मेरे ख्वाबो ने हमेशा ही सोचा भी है तुझको
जो छुआ था एक रात तूने सपने में
उस छुअन का एहसास आजतक क्यों है
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