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View Full Version : दुनियाँ के महान झूठ।


arvind
25-04-2011, 06:09 PM
इस सूत्र मे मै वैसे घटनाओ का जिक्र करूंगा, जो दुनियाँ के महान गल्प थे........

arvind
25-04-2011, 06:11 PM
शतरंज खेलने वाली मशीन

18वीं सदी में 'द टर्क' नामक शतरंज खेलने वाली मशीन ने यूरोप और अमरीका में लोगों को 80 साल तक चकमा दिया। नेपोलियन बोनापार्ट और बेंजामिन फ्रैंकलिन जैसी विश्व प्रसिद्ध हस्तियां भी इसके झांसे में आ गईं। इस मशीन का मालिक केंपलन नामक व्यक्ति था। 1770 से उसने इसका प्रदर्शन शुरू किया। उसने मशीन के साथ खेलने वाले खिलाडी के सामने शर्त रखी कि मशीन द टर्क सफेद गोटी के साथ खेलेगी और पहली चाल चलेगी। लोगों में जल्दी ही चर्चा फैल गई कि द टर्क होशियार खिलाडी है और आधे घंटे में प्रतिद्वंद्वी को हरा देती है।

सच्चाई: यह एक मैकेनिकल ढांचा था, जिसमें कोई माहिर खिलाडी छिपकर इसे ऑपरेट करता था। इसीलिए यह मशीन अधिकांश खेल जीत जाती थी। आखिर 1854 में यह आग में जलकर नष्ट हो गई।

arvind
25-04-2011, 06:13 PM
पिल्टडाउन मैन

भू-गर्भ वैज्ञानिक चाल्र्स डॉसन और उनके सहयोगी आर्थर स्मिथ वुडवार्ड ने चर्चा फैलाई कि खुदाई में उन्हें एक ऎसा जीवाश्म का टुकडा मिला है, जो इंसान और लंगूरों के बीच की खोई हुई कडी पर फोकस डाल सकता है। उन्होंने दावा किया कि यह जीवाश्म कम से कम 5 लाख साल पुराना है। यह पिल्टडाउन मैन इतना चर्चित हुआ कि लोग çब्ा्रटिश म्यूजियम में इसे देखने को उमड पडे। 1911 से 1915 के बीच çब्ा्रटेन में यह शिगूफा छोडा गया था।

सच्चाई: 1953 में वैज्ञानिकों ने पता लगाया कि यह कोई जीवाश्म नहीं, बल्कि मादा ओरांगुटान के जबडे को इंसान की खोपडी के साथ जोडकर तैयार की गई एक नकली आकृति मात्र है।

arvind
25-04-2011, 06:16 PM
परियों की तस्वीरें

इंग्लैंड में ब्ा्रैडफोर्ड के पास कोट्टींगली में दो चचेरी बहनें फ्रांसिस ग्रिफिथ्स (10) और एल्सी राइट (17) एक दिन बगीचे में गईं। एल्सी ने अपने पिता के कैमरे से वहां पांच तस्वीरें खींचीं। इन तस्वीरों को साफ किया तो उनमें नाचती हुई परियां नजर आ रही थीं। 1919 में यह बात शरलॅक होम्स के लेखक सर आर्थर कॉनन डॉयल को पता चली तो उन्होंने एक प्रमुख पत्रिका में यह परियों की तस्वीर की घटना पर आर्टिकल लिख डाला। फिर तो ये तस्वीरें खूब चर्चित हुईं। पचास साल तक लोग इस चकमे में रहे।

सच्चाई: 1981-82 में फ्रांसिस ग्रिफिथ्स और एल्सी राइट ने स्वीकार कर लिया कि परियों की तस्वीर वाली बात सफेद झूठ थी। फ्रांसिस ने कहा, 'मुझे ताज्जुब है, लोगों ने विश्वास कैसे कर लिया कि वे सचमुच परियां थीं।'

arvind
25-04-2011, 06:18 PM
मत्स्य कन्या का शगूफा

यूनाइटेड स्टेट्स में सर्कस किंग पी.टी. बेरनम ने कथित मत्स्य कन्या की ममी दिखाकर खूब प्रसिद्धि पाई। बेरनम के पास यह मत्स्य कन्या ममी बोस्टन के रहने वाले मोसेस किंबल से आई। 18 जून 1842 को दोनों के बीच एक लिखित समझौता हुआ, जिसके मुताबिक इस प्राणी का मालिकाना हक किंबल के पास रहा और बेरनम ने इसे प्रति हफ्ते 12.50 डॉलर की लीज पर लिया। बेरनम ने ही इसे चर्चित करके खूब पैसे कमाए।

सच्चाई: मत्स्य कन्या दरअसल एक इंडोनेशियाई कलाकार की करामात थी, जिसने मछली की पूंछ और अन्य अंगों और एक शिशु ओरांगुटान (बंदर प्रजाति) का धड एक बंदर के सिर से जोडकर यह कृति तैयार की थी।

Nitikesh
25-04-2011, 07:13 PM
बहुत भी बढ़िया सूत्र बना है/
यदि इसके चित्र उपलब्ध हो तो वो भी डाले/
मेरी तरफ से ढेर सारे धन्यवाद

ndhebar
25-04-2011, 07:23 PM
वाह वाह ये लोग तो सचमुच में महान आत्मा थे
अब सारी दुनिया को इतने लम्बे समय तक झांसे में रखना आसान काम थोड़े ना है
इतने कुछ तो सीखिए अरविन्द भाई
एक आप है की भाभी से भी ढंग से नहीं बोल पाते:crazyeyes::crazyeyes:

Gopal
25-04-2011, 07:24 PM
बहुत आनंद आया पढ़ कर. धन्यवाद्.

arvind
25-04-2011, 07:25 PM
वाह वाह ये लोग तो सचमुच में महान आत्मा थे
अब सारी दुनिया को इतने लम्बे समय तक झांसे में रखना आसान काम थोड़े ना है
इतने कुछ तो सीखिए अरविन्द भाई
एक आप है की भाभी से भी ढंग से नहीं बोल पाते:crazyeyes::crazyeyes:
दरअसल, आपकी भाभी जी, इसी विश्वविद्यालय से पीएचडी कि हुई है, जबकि मै तो विज्ञान का छात्र था..... हीहीहीही......

ndhebar
25-04-2011, 07:27 PM
दरअसल, आपकी भाभी जी, इसी विश्वविद्यालय से पीएचडी कि हुई है, जबकि मै तो विज्ञान का छात्र था..... हीहीहीही......
फिर तो आपको अमित कलयुगी से कुछ एक्स्ट्रा क्लास की जरूरत है

amit_tiwari
25-04-2011, 08:01 PM
फिर तो आपको अमित कलयुगी से कुछ एक्स्ट्रा क्लास की जरूरत है

ज़रूर दे देते लेकिन भौजी हमरी सीनियर रही हैं, इसलिए सारे दांव पेंच समझती हैं | कहीं ऐसा ना हो के चौबे जी छब्बे बनने जाएँ और दुबे बन के वापस आयें |
इसलिए status quo बनाए रखना ही पति जाती के सम्मान के लिए हितकर है |