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View Full Version : दोहे - जमीन


आकाश महेशपुरी
11-07-2013, 07:02 PM
दोहे-

मुझ पर मातु जमीन का, इतना है उपकार।
इसके खातिर छोड़ दूँ, जी चाहे घर-बार।।
मातु-पिता घर-बार से, धरती बहुत महान।
इसके आगे मैँ तुझे, भूल गया भगवान।।

दोहे- आकाश महेशपुरी
. . . . . . . . . . . . . . . . . . .
पता- वकील कुशवाहा उर्फ आकाश महेशपुरी
ग्राम- महेशपुर
पोस्ट- कुबेरस्थान
जनपद- कुशीनगर
उत्तर प्रदेश

dipu
11-07-2013, 08:36 PM
good one