Re: राजस्थानी कहावतों का अद्भुत संसार
1. अगस्त उगा मेह न मंडे, जे मंडे तो धार न खंडे !
अगस्त्य का तारा उदय होने पर प्रायः वर्षा नहीं होती, किन्तु यदि कभी हो जाए तो फिर खूब जोरों से होती है !
2. अगस्त ऊग्यो, मेह पूग्यो !
अगस्त्य नामक तारे का उदय होने पर वर्षा का अंत हो जाता है !
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दूसरों से ऐसा व्यवहार कतई मत करो, जैसा तुम स्वयं से किया जाना पसंद नहीं करोगे ! - प्रभु यीशु
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