Re: हत्यारी पिस्तौल की तलाश
अप्रेल 1973 के अंतिम दिनों में उसने बैरेटा को मात्र 80 डॉलर में अधेढ़ उम्र के सामोआ वासी ग्राहक को, जिसने फार्मेसी काऊंटर के पीछे पिस्तौल को देखा और इसे खरीदने की पेशकश की थी को बेच दिया था. केमिस्ट उस समोआवासी को उसके चलताऊ नाम ‘मू-मू’ से जानता था. उसने उसका विवरण देते हुये कहा कि उसका शरीर टैट्टुओं से भरा हुआ था. क्योंकि सामोआवासी ने वहां से ऐसी कोई दवा नहीं खरीदी थी जो किसी डॉक्टर द्वारा प्रस्तावित की गयी हो, वह उसका आगे कोई परिचय नहीं दे सका.
सान फ्रांसिस्को स्थित सामोआवासियों में आपस में बड़ा एका है और वे बड़े शांत स्वभाव के हैं. चाहे मू मू अपने समुदाय में एक जाना माना व्यक्ति था, फिर भी कोरेरिस इस बात को भली भांति जानता था कि उसके समोआवासी दोस्तों से उसका पता मालूम करना आसान नहीं होगा. पुलिस के प्रति जनता के मन में सहयोग का भाव कम ही था. लोगों ने मू मू से परिचय होने की बात स्वीकार तो की, किन्तु उन्होंने उसे काफी दिनों से देखा या उसके बारे में सुना नहीं था. तब 26 जुलाई की सुबह, जांच में नया मोड़ आया. केमिस्ट ने टेलीफोन पर सूचित किया कि मू मू उस समय फार्मेसी के काउन्टर पर खड़ा था. कोरेरिस ने उससे कहा कि वह जब तक हो सके समोआनी को रोक कर रखे.
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