'मैं कहता हूं कि केशों की हत्या (दाढ़ी और बाल कटवाना) बंद करो। अपने पूर्वजों की तरह दिखना शुरू करो ताकि हम सभी तुम्हें सभ्य और जायज बेटा कह सकें।' यह बयान 70-80 के दशक में पंजाब में चरमपंथ को बढ़ावा देने वाले विवादित शख्स जरनैल सिंह भिंडरावाले उन लोगों के सामने देता था जो सिख धर्म के अनुरूप दाढ़ी और बाल नहीं रखते थे। भिंडरवाले के समर्थक उसे 'संत' कहते थे। 3-8 जून, 1984 के बीच पंजाब के अमृतसर में मौजूद सिख धर्म के सबसे पवित्र तीर्थ स्थलों में से एक स्वर्ण मंदिर में भारतीय सेना ने ऑपरेशन 'ब्लू स्टार' नाम का अभियान चलाया था। उस ऑपरेशन में सिख कट्टरपंथी और खालिस्तान की मांग कर रहे विवादित शख्स जरनैल सिंह भिंडरावाले और उनके कई समर्थक मारे गए थे।
आज़ाद भारत की सबसे बड़ी घटनाओं में से एक इस ऑपरेशन के बाद 1984 में तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की हत्या हुई और उसके विरोध के तौर पर दिल्ली समेत देश के कई हिस्सों में सिख विरोधी दंगे हुए। इस ऑपरेशन को सिख समाज के लोग आज भी भूल नहीं पाए हैं। अमृतसर में ऑपरेशन ब्लू स्टार में मारे गए भिंडरावाले और उनके समर्थकों की याद में एक विवादित स्मारक बनाने की कोशिश हो रही है। इसका विरोध भी हो रहा है। पिछले साल अमृतसर में भिंडरावाले के बेटे को सार्वजनिक तौर पर सम्मानित भी किया गया था। आज भी सिख समाज का एक तबका भिंडरावाले को श्रद्धा के साथ याद करता है। सवाल उठता है कि भिंडरावाले कौन था और उसकी शख्सियत कैसी थी?