Re: "आरोप" मेरी पसंदीदा नवलकथा - १
कमलेश के घर पता नहीं था की वह नवीन को जानती भी है। वह राजपाल को मिलने के बहाने से घर से निकलती है लेकिन कौशिक उसे रोक देता है। कहता है की अब राजपाल से मिलने की कोई जरुरते नहीं।
ईक्तेफाक से राजपाल उस वक्त दरवाजे पर ही खडा होता है । वह सारी बाते सुन आगबबूला हो जाता है, क्यों की यह बंगला भी उसी का था और कमलेश को पाने की लालच में कौशिक के नाम कर चुका था। कौशिक ओर राजपाल के बीच झपाझपी होती है और राजपाल धमकी दे कर से चला जाता है।
तभी फोन बजता है। खबर आई थी की नवीन को पुलिस पकड कर ले गई है। कौशिक और कमलेश दोनों को धक्का लगता है।
पता चलता है की किसी तरफ गलती से वह पासबुक जिसमें कमलेश ने ५ रुपये की जगह ५०००० कर दिए थे...बेंके के पास चली गई है। बेंकवालों ने नवीन पर केस कर दिया और नवीन को कस्टडी में जाना पडा।
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