Re: मेरी कहानियाँ / दत्तक पुत्र
बजरंगी लाला का क्रोध एक दिन शांत हो ही गया. उस दिन लाला जैसे मूक हो गये थे. किन्तु उनमे यह परिवर्तन यूं ही नहीं आ गया था बल्कि उन्होंने इसका बड़ा भारी मूल्य चुकाया था. वीजू घर से भाग गया था.
किसी छोटी सी त्रुटि पर वह आपे से बाहर हो गये थे और उन्होंने इतनी बुरी तरह वीजू को पीटा कि उसके मुंह और नाक से खून आने लगा. रात को बजरंगी लाला और ललाइन में खूब विवाद हुआ. बाद में दोनों ने खाना खाने के लिए वीजू की बहुत चिरौरी की. उसने खाना न खाया तो लाला और ललाइन भी निराहार सो रहे.
सुबह तक वीजू काफी दूर जा चुका था.
**
|