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Originally Posted by dr.shree vijay
श्री अटल बिहारी वाजपेयी जी की कविताएँ :.........
कौरव कौन, कौन पांडव :
कौरव कौन
कौन पांडव,
टेढ़ा सवाल है|
दोनों ओर शकुनि
का फैला
कूटजाल है|
धर्मराज ने छोड़ी नहीं
जुए की लत है|
हर पंचायत में
पांचाली
अपमानित है|
बिना कृष्ण के
आज
महाभारत होना है,
कोई राजा बने,
रंक को तो रोना है :.........
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आज के युग को रेखांकित करती एक सुंदर कविता.