Re: मकर संक्रांति और पोंगल ..
केरल
केरल में संक्रांति के दिन अत्तुकल पोंगल मनाया जाता है। अत्तुकल भगवती मंदिर पर महिलाएँ ईंटों और लकडि़यों के चूल्हों पर पूजा में चढ़ाया के लिये प्रसाद बनाती हैं। भारी संख्या में महिलाओं की भागीदारी होने के कारण इसका नाम गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में दर्ज किया गया है। संक्रांति के दिन सबरीमलै पर अयप्पा देवता का भी बड़ा ही महात्म्य है। उनकी पूजा-प्रक्रिया चालीस दिनों तक चलती है। चालीसवाँ दिन संक्रान्ति के दिन होता है जिसे बहुत ही धूमधाम से मनाते हैं। यहाँ पर एक पहाड़ी पर से मकर ज्योति को देखना शुभ माना जाता है। लोगों का विश्वास है कि मकर ज्*योति एक तारा है जिसके दिव्*य एवं आलौकिक प्रकाश में पूजन-अर्चना करने से जीवन में खुशियां आती हैं। सारे दुख दूर हो जाते हैं।
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मेरी चित्रशाला : दिल दोस्ती प्यार ....या ... .
तुमने मजबूर किया हम मजबूर हो गये ,...
तुम बेवफा निकले हम मशहूर हो गये ..
एक " तुम " और एक मोहब्बत तेरी,
बस इन दो लफ़्ज़ों में " दुनिया " मेरी..
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