'ज्यू इज नॉट माय एनेमी' और 'चेजिंग अ मिराज' जैसी मशहूर किताबें लिखने वाले तारेक फतह अपने को कभी भी पाकिस्तानी नहीं मानते। कराची में पैदा हुए और कनाडा में रहने वाले फतह से जब भी पूछा जाता है कि आप पाकिस्तान के होकर इतनी तल्ख बातें क्यों करते हैं। इसका जवाब देते हुए वह कहते हैं कि मैं तो एक हिन्दुस्तानी हूं, जो पाकिस्तान में पैदा हो गया। 1947 से पहले तो इस देश का कोई वजूद भी नहीं था। जहां से हिन्दू वेद निकले हैं मैं तो उनकी औलाद हूं। बकौल तारेक, पाकिस्तान वो बदनसीब देश है, जिसने अपने हथियारों के नाम मोहम्मद गौरी, गजनवी और अब्दाली के नाम पर रखे हैं। पाकिस्तानी सेना ने आज तक कोई जंग नहीं लड़ी है। जो सेना भारत के सामने चार दिन में हथियार डाल दे, उसे अपने को सेना कहलाने का अधिकार नहीं है।