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Old 03-05-2016, 12:13 AM   #10
Pavitra
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Default Re: अपना अपना भाग्य

[QUOTE=rajnish manga;558262]

इस बीच पड़ौसी देश का राजा समर्थवर्मन जिसका राज्य राजकुमारी के पिता के राज्य से अधिक शक्तिशाली था, उसने इस राज्य पर अपना अधिकार जमा लिया. राजकुमारी के माता पिता और भाई संबंधी अपनी जान बचाने के लिये महल के गुप्त रास्ते से बाहर निकल गए. काफी समय तक वे अन्य छोटे छोटे राजाओं से मिलते रहे लेकिन समर्थवर्मन से लोहा लेने की किसी में ताकत नहीं थी. इस प्रकार अपना राज्य वापिस प्राप्त करने के उनके सभी प्रयास विफल हो गए. इन कोशिशों में कई वर्ष गुजर गए. जब वे बिलकुल निराश हो गए और पास का धन सम्पत्ति भी खत्म हो गई तो और कोई चारा न पाकर उन्होंने मजदूरी कर के अपना जीवन यापन करने का मन बना लिया. राजकुमारी के माता पिता और अन्य परिवारजन दिन भर मेहनत मजदूरी करते और रात को अपनी झोंपड़ी में आ जाते. उन्होंने इसे ही अपना भाग्य मान कर स्वीकार कर लिया.


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Originally Posted by rajnish manga View Post
पवित्रा जी द्वारा बताये जाने पर कहानी के उस छूटे हुये भाग को सम्पादन के पश्चात पुनर्निर्मित करने की कोशिश की गई है. आशा है स्नेहीजन इसे स्वीकार करेंगे.




अब यह प्रसंग और भी रोचक हो गया है , आपके द्वारा किया गया सम्पादन बिल्कुल कहानी के अनुरूप है और कहानी के सौन्दर्य को बढा रहा है । आपका बहुत बहुत आभार कि आपने मेरी जिज्ञासा को शान्त किया और मेरे प्रश्न को इस योग्य समझते हुए कहानी में बदलाव किया ।
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