Re: प्रधानमंत्री को हिन्दी आनी ही चाहिए : प्रण
प्रणब ने बड़ी उम्र के राजनेताओं को सक्रिय राजनीति से अलग हो जाने का मशवरा देते हुए कहा कि अब नई पीढ़ी के लिए जगह बनाई जानी चाहिए। राष्ट्रपति पद के लिए चुनाव में यूपीए की घटक तृणमूल कांग्रेस द्वारा उनका समर्थन न किए जाने पर कतई चिंतित न होते हुए प्रणब ने आशा जताई कि ममता बनर्जी उनकी उम्मीदवारी का समर्थन कर देंगी।
बचपन की यादों में खोते हुए दादा का कहना था कि उनका नाम पोल्टू इसलिए पड़ा, क्योंकि वह बेहद शरारती बच्चे थे। उल्लेखनीय है कि प्रणब को घर के बड़े-बुजुर्ग प्यार से पोल्टू ही पुकारते हैं, और वह अपने तीन भाई-बहनों में सबसे छोटे हैं। पश्चिम बंगाल के बीरभूम जिले के एक छोटे से गांव मिराती में पले-बढ़े प्रणब के पिता एक शिक्षक थे, जो कांग्रेस से भी जुड़े रहे। उनके पिता स्वतंत्रता सेनानी थे, जो आजादी से पहले जेल भी गए।
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