Re: महात्मा गांधी :: A mega Thread
गाँधी जी अपने बारे में :::
मैं 'संत के वेश में राजनेता' नहीं हूं। लेकिन चूंकि सर्वोच्च बुद्धिमला है इसलिए कभी-कभी मेरे कार्य किसी शीर्षस्थ राजनेता के-से कार्य प्रतीत होते है। मैं समझता हूं कि सत्य और अहिंसा की नीति के अलावा मेरी कोई और नीति नहीं है। मैं अपने देश या अपने धर्म तक के उद्धार के लिए सत्य और अहिंसा की बलि नहीं दूंगा। वैसे, इनकी बलि देकर देश या धर्म का उद्धार किया भी नहीं जा सकता।
यंग, 20-1-1927, पृ. 21
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