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Originally Posted by soni pushpa
डार्क संत की पाठशाला ... के लेखक जी से एक निवेदन है मेरा आप इतना अच्छा - अच्छा लिखते हो फिर आपने आपना display pictur इतना भयंकर क्यों रखा है जब रत की शांति में मै कुछ लिखती हु और भूल से भी आपके इस display pictur पर नजर चली जाती तब सच बेहडी डर लगता है कृपया आप इसे बदलने का कष्ट करेंगे ? प्लीज ...
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प्रिय पुष्पाजी, मेरे नाम और इस अवतार की भी एक कहानी है। अरसे पहले मैं सिर्फ अंग्रेज़ी की फोरम्स पर विचरण किया करता था और मेरा शुभ नाम सिर्फ 'अलैक' (Alaick) था। उन अंग्रेज़ी फोरम्स पर जहां, मूल मन्त्र सेक्स और नग्नता होती है, मेरे सूत्र कुछ अलग तरह के होते थे। इसी दौर में एक फोरम मित्र ने मेरे एक सूत्र में टिप्पणी की कि 'आप इस फोरम के अंधेरे में संत (सेंट इन द डार्कनेस-उन्होंने ठीक यही लिखा था) की तरह हैं। उन्हीं दिनों में एक अन्य हिन्दी फोरम पर सक्रिय था और वैयक्तिक कारणों से अपना नाम बदलना चाहता था। वहां मैंने अपना नाम इस प्रेरणा के कारण 'डार्क सेंट' कर लिया और इस फोरम पर भी इसी इस्मे-शरीफ़ से सक्रिय हुआ। कुछ कारणों से अन्य फोरम पर जाना धीरे-धीरे छूट गया और मैं यहां ही रम गया, लेकिन मित्र बार-बार पूछते थे - क्या आप ही 'अलैक' हैं ? … तो अभिषेकजी से आग्रह कर मैंने अपना पूरा नाम यही करा लिया - डार्क सेंट अलैक। अब इस अवतार के बारे में। इससे डरने का कारण क्या है? मैं इससे यह सन्देश देता हूं कि मैं अंधेरे में छुपा अवश्य हूं, किन्तु आप सभी पर मेरी पूरी नज़र है। मैं जो कुछ भी पोस्ट करता हूं, अपने दाएं-बाएं देख कर ही, अतः प्रामाणिकता की पूरी गारंटी है। अतः कृपया भयभीत न हों, मुझे अपना बड़ा भाई मानें। आपके सारे शिकवे दूर हो जाएंगे। धन्यवाद।