Re: गुण और कला
बहुत ही सूक्ष्म रूप से विचार करने पर खाली दिमाग मे ये बात आई है -
जो प्रकृतिक रूप से किसी भी वस्तु मे पाई जाए वो गुण है - जैसे जल मे शीतलता, आग मे उष्णता, मनुष्य मे मनुष्यता आदि।
और कला वो है जो साधना से प्राप्त होती है। अगर आप अच्छे पकवान बनाते है तो यह आपकी कला है। नाच तो सभी लेते है, मगर एक अच्छे नृत्यकार वो है, जो वर्षो-वर्ष तक साधना करके एक कुशल नृत्यकार बनते है।
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