Re: आक्षेप का पटाक्षेप
३. देवी भागवत, 9।4-7 का सारांश है- ‘’नारायण ने सरस्वती से कहा—‘...सरस्वती, तुम भी पापनाशिनी सरिता के रूप में पृथ्वी पर अवतरित होगी। तुम्हारा पूर्ण रूप ब्रह्मा की पत्नी के रूप में रहेगा। तुम उन्हीं के पास जाओ।’ सरस्वती ब्रह्मा की प्रिया होने के कारण ब्राह्मी नाम से विख्यात हुई।
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