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Originally Posted by bharat
भाषण के कुछ अंश !
( जानता हूँ की अच्छा नहीं है लेकिन मैंने देखा है मिडिया भाषण को दिखा नहीं रहा! सिर्फ आपत्तिजनक बोलकर काम चला रहा है! मेरे विचार से आपत्तिजनक शब्द ही पर्याय नहीं है ! जितनी नीचता इस शैतान ने दिखाई है, वो किस भी हालत में माफ़ करने लायक नहीं है! एक और बात, हिन्दुओं का मजाक उड़ाने के साथ ही साथ इसने पुरे देश को सन्देश दिए हैं! हिंदुस्तान-हिन्दुस्तान कहकर ललकारा है इसने! अब हिन्दुस्तान में तो हिन्दुओं के साथ साथ बाकी के कुख्यात सेकुलर भी आ जाते हैं! )
# ऐ हिंदुस्तान तू सो करोड़ है और हम पचीस करोड़ हैं! पन्ध्रह मिनट के लिए पुलिस हटा ले, फिर देखते हैं कोन किसको ख़तम करता है! (ये बात अलग है की इस जैसे लोग गुजरात के मुख्या मंत्री पर यही आरोप लगते आयें है की उन्होंने पुलिस को हटवा लिया था!)
# राम की माँ कहाँ कहाँ गयी थी उसे जनम देने! (इस से भी ज्यादा भद्दे तरीके का मजाक बनाया गया था भगवान् श्री राम के जनम को लेकर!)
#अब भाई कोई अगर गाय का मांस नहीं खाता तो न खाए! हम तो खायेंगे! इन बेवकूफों को क्या पता की कितना लज़ीज़ होता है!
#अगर हमारे साथ कोई नाइंसाफी जारी रहती है तो हिन्दुतान खून के आंसू रोयेगा!
#अगर अयोध्या नहीं हुआ होता तो मुंबई के दंगे भी न होते!
# पाकिस्तानी बच्चे को फांसी तो मोदी को क्यूँ नहीं! (बच्चा कसाब को बोल गया!)
और ये हैवान इतने पर ही नहीं रुक! तकरीबन दो घंटे तक इसी तरह ये नफरत उगलता रहा और सामने कड़ी भीड़ उसे उत्साहित करती रही! लानत है ऐसे लोगों पर!
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एक बात तो तय है इससे ज्यादा गन्दा हेट स्पीच हिंदुस्तान के इतिहास में किसी राजनेता ने नहीं दिया होगा। इसकी विधान सभा की सदस्यता कैंसिल करनी चाहिए और इसे आजीवन चुनाव और वोटिंग देने के अधिकार से वंचित कर देना चाहिए। तब इसी और इसके जैसे लोगो को सबक मिलेगा।
जहाँ तक उत्साहित भीड़ का सवाल है तो अभी भी हिन्दुस्तान में जनता इनती भोली भाली और बेवक़ूफ़ है की उनको कोई भी धर्म के नाम पर बहला फुसला लेता है। हिन्दुओ को उनके नेता यह कह कर डराते है की हिन्दू धर्म खतरे में है, और दूसरी तरफ मुस्लिम नेता आम मुस्लिमो को यह कहकर की इस्लाम खतरे में हैं। इस्लाम धर्म को मानने वाले करीब पूरी दुनिया में 160 करोड़ लोग है और हिन्दू धर्म को मानने वाले 105 (जिसमे से 100 करोड़ को एक ही देश में हैं।) वही देखिये तो पूरी दुनिया में केवल 2 करोड़ यहूदी हैं। लेकिन आज तक उन्होंने ऐसा नहीं बोल की उनका धर्म खतरे में हैं।
अभी कुछ दिन पहले काटजू ने कहा था की 90 प्रतिशत भारतीय बेवकूफ होते हैं और भावनाओं में बह जाते हैं। शायद वो सही कह रहे थे, जब तब आम भारतीय जब तक ऐसे धर्म के नाम पर राजनीति करने वाले नेताओ की बातो पर ताली बजाते रहेंगे, तब तक ऐसे नेता पैदा लेते रहेंगे और ऐसे ही कई हेट स्पीच सुनने को मिलेंगे