26-03-2011, 01:42 PM | #591 |
Exclusive Member
Join Date: Oct 2010
Location: Bihar
Posts: 6,261
Rep Power: 35 |
Re: हमारी शेर "ओ" शायरी
पर आप तो कभी याद की लिया करों माना आपके आस पास सारी दुनिया है पर कभी हमारी कमी का भी अहसास कर लिया करों ” |
26-03-2011, 01:43 PM | #592 |
Exclusive Member
Join Date: Oct 2010
Location: Bihar
Posts: 6,261
Rep Power: 35 |
Re: हमारी शेर "ओ" शायरी
“तारों से कहो टिम टिमाना छोड दे
चॉद से कहो जगमगाना छोड दे अगर आप आ नहीं सकते तो आपकी यादों से कहो सताना छोड दे” |
26-03-2011, 01:43 PM | #593 |
Exclusive Member
Join Date: Oct 2010
Location: Bihar
Posts: 6,261
Rep Power: 35 |
Re: हमारी शेर "ओ" शायरी
“कलम उठाई है लफज नहीं मिलता
जिसको ढूढ रहे है वा शख्*स नहीं मिलता फिरते है वा जमाने के साथ बस हमारे लिये उन्*हे वकत नहीं मिलता ” |
26-03-2011, 01:44 PM | #594 |
Exclusive Member
Join Date: Oct 2010
Location: Bihar
Posts: 6,261
Rep Power: 35 |
Re: हमारी शेर "ओ" शायरी
“तुम्*होर शहर का मौसम बडा सुहाना लगे
मै एक शाम चुरा लू अगर बुरा ना लगे तुम्*हारे बस में है तो भूल जाओं मुझे तुम्*हे भूलाने में मुझे जमाना लगे ” |
26-03-2011, 01:45 PM | #595 |
Exclusive Member
Join Date: Oct 2010
Location: Bihar
Posts: 6,261
Rep Power: 35 |
Re: हमारी शेर "ओ" शायरी
“हर राही का मन चाहा मुकाम नही मिलता
जिसकों जी भर प्*यार कर सके वा इंसान नही मिलता आसमान के सितारों की तरह हमारे अरमान भी बिखरे से रहते है जो अपने दिल में हमें जगह दे सके वो मेहमान नहीं मिलता” पता है तुम जब घर से निकलते हो तो लड़कियां तुम्हे हसरत से देखती हैं आहें भरती हैं और सोचती हैं काश हमारा भी ऐसा ‘भाई’ होता *~*~*~*~*~*~*~*~* |
26-03-2011, 01:46 PM | #596 |
Exclusive Member
Join Date: Oct 2010
Location: Bihar
Posts: 6,261
Rep Power: 35 |
Re: हमारी शेर "ओ" शायरी
दिल की गहरायी ना को नाप पाया
इस दिल में छुपा राज ना कोई जान पाया कैसे कहें हम किसी को अपना जो अपना हो कर भी ना अपना हो पाया! |
26-03-2011, 01:48 PM | #597 |
Exclusive Member
Join Date: Oct 2010
Location: Bihar
Posts: 6,261
Rep Power: 35 |
Re: हमारी शेर "ओ" शायरी
अपनी हर सांस तेरी गुलाम कर रखी है
लोगों ये जिंदगी बदनाम कर रखी है आईना भी नहीं अब तो किसी काम का हमने तो अपनी परछाइ भी तेरे नाम कर रखी है । |
26-03-2011, 01:49 PM | #598 |
Exclusive Member
Join Date: Oct 2010
Location: Bihar
Posts: 6,261
Rep Power: 35 |
Re: हमारी शेर "ओ" शायरी
गिले शिकवे ना दिल से लगा लेना
कभी मान जाना तो कभी मना लेना कल का क्या पता हम हों ना हों जब भी मौका मिला थोड़ा हंस लेना और हंसा देना। |
26-03-2011, 01:51 PM | #599 |
Exclusive Member
Join Date: Oct 2010
Location: Bihar
Posts: 6,261
Rep Power: 35 |
Re: हमारी शेर "ओ" शायरी
सिर्फ यादों का एक सिलसिला रह गया
खुदा जाने उससे क्या रिश्ता रह गया एक चांद खो गया जाने कहां एक सितारा उसे ढूंढता रह गया। |
26-03-2011, 01:52 PM | #600 |
Exclusive Member
Join Date: Oct 2010
Location: Bihar
Posts: 6,261
Rep Power: 35 |
Re: हमारी शेर "ओ" शायरी
कल तक तन्हा थे
आज इंतजार करते हैं कल तक कुछ ना था आज ऐतबार करते हैं यूं ही नहीं आती आपको हिचकियां हम याद आपको बार बार करते हैं। |
Bookmarks |
Tags |
geet, ghazals, hindi shayaris, shayaris |
Thread Tools | |
Display Modes | |
|
|