12-04-2013, 11:17 AM | #27291 |
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वाशिंगटन। भारतीय मूल के दो युवा वकीलों को उनके लेख ‘भारत में अनिवार्य लाइसेंसिंग’ के लिए प्रतिष्ठित एंटीट्रस्ट राइटिंग अवार्ड से सम्मानित किया गया। अमरचंद मंगलदास के वकील नवल सतारावाला चोपड़ा और सहयोगी दीनू मुथप्पा को व्यावसायिक वर्ग में उनके लेख के लिए विजेता घोषित किया गया। एंटीट्रस्ट राइटिंग अवार्ड प्राप्त करने वाले ये एकमात्र भारतीय हैं और सबसे युवा विजेताओं में शुमार हैं।
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12-04-2013, 11:19 AM | #27292 |
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वैश्विक पहचान पाने की कोशिशों में जुटा माजुली का मुख
माजुली (असम)। ‘मुख’ यानी मुखौटे कई वर्षों से असम के पारंपरिक वैष्णव थियेटर या ‘मुख भाउना’ का मुख्य हिस्सा रहे हैं लेकिन माजुली द्वीप का एक कलाकार अब इन्हें वैश्विक स्तर पर पहचान दिलाने की कोशिशों में जुट गया है। असम की कला और वैष्णव सांस्कृतिक विरासत के भंडार माजुली से ही मुखौटे बनाने की कला की शुरूआत 16वीं सदी में हुई थी जो आज तक जीवित है लेकिन मनोरंजन के आधुनिक तरीकों के कारण इसकी लोकप्रियता में काफी कमी आ गई है। संगीत नाटक अकादमी पुरस्कार से सम्मानित हेमचंद्र गोस्वामी ‘मुख’ को उसकी खोई पहचान वापस दिलाने और छोटे एवं सुविधाजनक आकार में उन्हें पर्यटकों को मुहैया कराने की दिशा में काम कर रहे हैं। गोस्वामी ने कहा, ‘माजुली के पारंपरिक मुखौटै आकार में बड़े लेकिन हल्के होते हैं। लोगों को उन्हें अपने साथ ले जाने में असुविधा होती है। इसी लिए हमने छोटे आकार के ‘मुख’ बनाने का निर्णय लिया है ताकि विदेशों और देश के विभिन्न हिस्सों से आने वाले पर्यटक उन्हें अपने साथ वापस ले जा सकें।’
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12-04-2013, 11:24 AM | #27293 |
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1974 का परमाणु परीक्षण शांतिपूर्ण उद्देश्यों के लिए होने की बात बेतुकी : चीनी राजनयिक
नई दिल्ली। चीनी राजनयिकों ने भारत सरकार की उस दलील को बेतुका करार दिया था जिसमें यह कहा गया था कि 1974 में उसका पहला परमाणु परीक्षण शांतिपूर्ण उद्देश्यों के लिए किया गया था और तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने अपने पिता से ‘पाखंड विरासत में प्राप्त’ की । पीकिंग को इस बात की भी शिकायत थी कि उसे परीक्षण के बारे में भारतीयों ने सूचित नहीं किया। विकिलीक्स की ओर से अमेरिका के राजनयिक केबल के ताजा खुलासे में यह बात सामने आई है कि पीकिंग ने भारतीय परीक्षण के बारे में संक्षिप्त टिप्पणी की क्योंकि पोखरण विस्फोट चीन को प्रभावित नहीं करता और उसे विशेष महत्व की घटना के रूप में नहीं देखा गया था। विकिलीक्स के अनुसार, द्वितीय सचिव ली ता नान ने अमेरिकी उच्चायोग के एक अधिकारी को परमाणु परीक्षण के 11 दिन बाद 29 मई 1974 को कहा, ‘इससे हालांकि दक्षिण एशियाई देशों के संबंधों में बेहतरी में देरी होगी और यह जटिल बन जायेगी।’ ली ने कहा कि विदेश सचिव (पूर्वी) त्रिवेदी परीक्षण के बारे में एशियाई और अफ्रीकी राजनयिकों को बता रहे थे। केबल में ली के हवाले से कहा गया है कि, ‘लेकिन भारतीयों ने चीन को इसके बारे में कुछ भी नहीं बताया। ली ने संदेह जताया कि सोवियत रूस को परीक्षण के बारे में पहले से जानकारी थी और उन्होंने तैयारी में भारतीयों की मदद की होगी।’ ‘लेकिन उन्होंने कहा कि उनके पास इस संबंध में कोई साक्ष्य नहीं है। उन्होंने कहा कि भारतीयों की ओर से इसके शांतिपूर्ण उद्देश्यों के लिए होने की बात बेतुकी थी। श्रीमति गांधी ने अपने पिता से ‘पाखंड विरासत में हासिल किया।’ अर्जेटिना स्थित अमेरिकी मिशन के केबल में कहा गया कि चीनी राजदूत चिंग वी चिह ने अपनी टिप्पणी में कहा कि चीन को भारतीय परीक्षण से कोई आश्चर्य नहीं हुआ और न ही अमेरिका या रूस ही आश्चर्यचकित हुआ क्योंकि इन्होंने ही भारत को परमाणु क्षमता हासिल करने में मदद की। केबल में कहा गया कि, ‘राजदूत हिल ने संकेत दिया कि ऐसी बात नहीं थी और राजदूत चिंग पी चिह को अमेरिकी प्रेस में प्रकाशित खबरों की कुछ कतरने भेजी जो भारतीय परमाणु परीक्षण के बारे में सही परिदृश्य को दर्शाता है।’ जब राजदूत हिल ने चाउ एल लाइ की स्थिति के बारे में पूछा तब चीनी राजदूत ने लाइ को बीमार बुढा व्यक्ति करार देते हुए खारिज कर दिया। केबल में कहा गया है कि अमेरिका को भी परीक्षण के बारे में उस दिन सुबह में बताया गया। ‘विदेश सचिव केवल सिंह ने 18 मई को सुबह 10 बजे सूचित किया कि भारत ने 18 मई की सुबह 8 बजे शांतिपूर्ण परमाणु विस्फोट किया है।’’ इसमें कहा गया, ‘सिंह ने कहा कि जमीन के भीतर 100 मीटर की अंतस्फोट उपकरण का विस्फोट किया गया ।’ विदेश सचिव ने स्पष्ट किया कि यह परीक्षण एक प्रयोग के तौर पर भारत को परमाणु उर्जा, खनन से जुड़े शांतिपूर्ण उद्देश्यों के लिए इस प्रौद्योगिकी से अवगत करने के मकसद से किया गया । केबल के अनुसार, ‘सिंह ने कहा कि इसमें कोई संदेह नहीं होना चाहिए कि भारत परमाणु उर्जा के सैन्य उद्देश्यों के लिए उपयोग करने के खिलाफ प्रतिबद्ध है।’ ‘इस पर जवाब आया कि वाशिंगटन में इस खबर को अहम झटका के रूप में लिया जायेगा। जैसा की केवल सिंह जानते हैं कि अमेरिका शांतिपूर्ण और सैन्य उद्देश्यों के लिए विस्फोट के बीच फर्क की संभावना में विश्वास नहीं करता है। सिंह ने बार बार कहा कि भारत इसके सैन्य उपयोग के खिलाफ है।’ अमेरिकी उच्चायोग ने परीक्षण के बारे में अपने आकलन में कहा कि परमाणु उपकरण का विस्फोट ऐसे समय में आया है जब भारत गहरे आर्थिक संकट में है। केबल के अनुसार, ‘भ्रष्टाचार, कुप्रबंधन, श्रमिक अनुशासनहीनता, बढती महंगाई, खाद्य संग्रहण, कच्चे तेल की उंची कीमत के कारण आर्थिक स्थिति खराब हुई है और गंभीर राजनीतिक अशांति की स्थिति बनी है।’ ‘इस वर्ष (1974) में गुजरात और उसके बाद बिहार में अशांति, छोटी मोटी हिंसा की छिटपुट घटनाएं, रेल हड़ताल जैसी स्थिति सरकार के समक्ष आई है और इसके साथ ही राजनीतिक और आर्थिक अनुशासन बनाये रखने की भी चुनौती उत्पन्न हुई है।’ उच्चायोग ने कहा कि वे यह बात मानने को तैयार हुए हैं कि घरेलू समस्या और अनिश्चितता के कारण भारत का झुकाव परमाणु परीक्षण करने के निर्णय लेने में अहम रहा। दोनों महाशक्तिओं में शीत युद्ध के बावजूद उस समय ऐसा प्रतीत हो रहा था कि अमेरिका और यूएसएसआर के राजनयिकों में अच्छा संबंध था। 15 दिसंबर 1976 के अमेरिकी उच्चायोग के एक केबल में यह बात सामने आई कि हालांकि ऐसी अफवाह थी कि पाडग्रोनी और या ग्रोमयको अगले कुछ महीने में भारत की यात्रा पर जा सकते हैं, सोवियत रूस के उच्चायोग ने अमेरिका को सूचित किया कि मास्को और नयी दिल्ली के बीच राजनीतिक स्तर की यात्रा नहीं होगी। एक अन्य केबल में कहा गया है कि रूसी इंदिरा गांधी के छोटे बेटे संजय गांधी को कम्यूनिस्ट विरोधी मानते थे जो दक्षिणपंथियों से घीरे रहते थे।
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12-04-2013, 12:15 PM | #27294 |
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युद्ध के दौरान यौन हिंसा रोकने के लिए अंतरराष्ट्रीय प्रोटोकॉल पर विचार
लंदन। लंदन में शुरू हुए समूह आठ के विदेश मंत्रियों की बैठक में सीरिया, ईरान, सोमालिया और अन्य मुद्दों सहित गृह युद्ध और अशांति के दौरान होने वाली यौन हिंसा के संबंध में भी विचार किया जाएगा । मेजबान देश ब्रिटेन के विदेश मंत्री विलियम हेग ने कहा कि इस बैठक के लिए उनकी ‘व्यक्तिगत प्राथमिकता’ युद्धों के दौरान यौन हिंसा पर रोक लगाने के लिए नया समझौता और अंतरराष्ट्रीय प्रोटोकॉल लागू करना है । हेग ने कहा, ‘श्रीलंका और भारत सहित कई देश इन भयंकर हमलों से जूझ रहे हैं । घरेलू स्तरों पर सभी देशों की सरकारों से आशा है कि वे इन अपराधों से निपटने के लिए अपना सर्वश्रेष्ठ प्रयास करेंगी । हमारा लक्ष्य एक अंतरराष्ट्रीय प्रोटोकॉल बनाना और युद्ध के दौरान हथियार के तौर पर इस्तेमाल की जा रही यौन हिंसा को रोकने के लिए इस मुद्दे पर अंतरराष्ट्रीय सहयोग बनाना है ।’ समूह आठ के विदेश मंत्रियों की बैठक में अमेरिका, कनाडा, फ्रांस, जर्मनी, इटली, जापान, रूस और ब्रिटेन के विदेश मंत्री शामिल होंगे ।
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12-04-2013, 12:17 PM | #27295 |
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पुलिस 16 दिसंबर के बलात्कार कांड के आरोपी के बीए परीक्षा कार्यक्रम नहीं ला सकती
नई दिल्ली। दिल्ली पुलिस ने एक त्वरित अदालत से कहा कि वह इंदिरा गांधी राष्ट्रीय खुला विश्वविद्यालय (इग्नू) को 16 दिंसबर के बलात्कार कांड के आरोपियों में एक के लिए बीए प्रथम वर्ष के परीक्षा कार्यक्रम की प्रति देने के लिए नहीं कह सकती। पुलिस का यह जवाब विनय शर्मा के इस अनुरोध पर आया कि उसे परीक्षा कार्यक्रम उपलब्ध कराया जाए। विनय उन चार आरोपियों में एक है जिन पर 16 दिंसबर के कांड को लेकर अदालती सुनवाई चल रही है। उस दिन इन चारों और दो अन्य ने चलती बस में 23 साल की लड़की का बलात्कार किया था। विनय के वकील ए पी सिंह ने अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश योगेश खन्ना की अदालत में अनुरोध किया था कि आरोपी ने पिछले साल अगस्त में इग्नू में बीए प्रथम वर्ष में दाखिला लिया था और अब उसे परीक्षा में बैठना है। विशेष जन अभियोजक दयान कृष्णन ने कहा कि संबंधित थाना प्रभारी को यह निर्देश नहीं दिया जा सकता कि वह विश्वविद्यालय जाकर परीक्षा तिथि लाए क्योंकि यह मामला आरोपी और विश्वविद्यालय के बीच है। उन्होंने कहा, ‘हम कैसे जाकर परीक्षा कार्यक्रम ला सकते हैं।’ उन्होंने कहा कि आरोपी के परिवार के सदस्यों को जाकर परीक्षा तिथि लाने का पूरा हक है। विनय ने कहा था कि विश्वविद्यालय परीक्षा कार्यक्रम नहीं दे रहा, जिससे उसके लिए परीक्षा की तैयारी कर पाना मुश्किल हो गया है। इस पर अदालत ने पुलिस से जवाब मांगा था।
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12-04-2013, 12:18 PM | #27296 |
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अवयस्क बलात्कार पीड़ित से एनसीएससी के सदस्यों ने की मुलाकात
बुलन्दशहर (उत्तर प्रदेश)। राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग के सदस्यों ने यहां दस वर्षीय उस बलात्कार पीड़ित से मुलाकात की जिसे शिकायत दर्ज कराने के लिए आने पर पुलिस ने कई घंटे तक हवालात में रोके रखा था। एनसीएससी के उपनिदेशक कौशलेन्द्र कुमार सहित दो सदस्यों ने कल शाम जिले के मीरपुर गांव में पीड़ित और उसके परिवार वालों से मुलाकात की। कुमार ने बताया कि आयोग उत्तर प्रदेश सरकार से पीड़ित के परिजनों को आर्थिक मदद मुहैया कराने की सिफारिश करेगा और पीड़ित को हवालात में कई घंटे तक रोके रखने वाले पुलिस अधिकारियों के खिलाफ शिकायत दर्ज करने के लिए भी कहेगा। इस मामले में दो महिला कॉन्स्टेबलों को पहले ही निलंबित किया जा चुका है। महिला थाना प्रभारी गयाश्री चौहान और उप निरीक्षक सविता द्विवेदी पर भी कार्रवाई की गई है। बताया जाता है कि अवयस्क से रविवार को एक स्थानीय व्यक्ति ने बलात्कार किया। जब पीड़ित अपने अभिभावकों के साथ सोमवार को शिकायत दर्ज कराने के लिए महिला थाना गई तो पुलिस ने शिकायत दर्ज करने के बजाय उसे कई घंटे तक हवालात में बंद रखा।
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12-04-2013, 12:20 PM | #27297 |
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सविता मामला : चिकित्सक ने माना व्यवस्था में खामियां थीं
लंदन। भारतीय दंत चिकित्सक सविता हलप्पनवार की चिकित्सक ने माना कि गैलवे यूनिवर्सिटी हास्पिटल में सविता के इलाज के दौरान कई प्रक्रियागत खामियां थीं । 17 सप्ताह की गर्भवती भारतीय दंत चिकित्सक की गर्भपात से मना करने के कारण पिछले वर्ष अक्तूबर में इसी अस्पताल में मौत हो गई थी । आयरलैंड के गैलवे अदालत में सविता की मौत के मामले में चल रही तहकीकात के दौरान डॉक्टर कैथरीन एस्टबरी ने बताया कि उसे रक्त परीक्षण की असामान्य स्थिति के संबंध में जानकारी नहीं थी । उन्होंने कहा कि भ्रूण झिल्ली फटने के बाद मरीज की हालत की जांच ज्यादा ढंग से की जानी चाहिए थी । आयरिश मीडिया की खबरों के अनुसार, कोरोनर किआरन मैकलॉगलिन ने जब चिकित्सक से पूछा कि क्या सविता के इलाज का यह पहलू व्यवस्था की खामी है । डॉक्टर एस्टबरी ने कहा, ‘हां।’ 31 वर्षीय सविता ने 24 अक्तूबर 2012 को एक मृत शिशु को जन्म दिया और उसके चार दिन बाद ईकोलाई से हुए सेप्टिसीमिया के कारण दिल का दौरा पड़ने से सविता की मौत हो गई थी। ‘आयरलैंड के कैथोलिक देश होने के कारण’ सविता का गर्भपात करने से इंकार करने की आरोपी डॉक्टर एस्टबरी ने कहा कि उन्होंने मना किया क्योंकि मरीज की जान को कोई खतरा नहीं था । जिरह के दौरान डॉक्टर ने कहा, ‘वह ठीक थी। उसकी जान को कोई खतरा नहीं था। यदि आप किसी को बच्चे को जन्म दे देने के लिए दवा दे रहे हैं और भ्रूण में धड़कन है तो कानूनी तौर पर इसे गर्भपात ही माना जाता है।’ उन्होंने पूरी बातचीत में कैथोलिक धर्म का जिक्र होने की बात से इंकार कर दिया। उन्होंने कहा कि उन्होंने अपने धर्म का जिक्र ही नहीं किया था लेकिन यह जरूर कहा था कि भ्रूण में अभी भी जान होने के कारण इस देश में मैं इसका गर्भपात नहीं कर सकती।
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12-04-2013, 12:21 PM | #27298 |
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केंद्र की राजग तथा विभिन्न राज्यों की भाजपा सरकारों की उपलब्धियां गिना मांगेगी वोट
लखनऊ। भारतीय जनता पार्टी ने कहा है कि वह एक व्यापक जनसंपर्क अभियान चलाकर लोगों को केंद्र में सत्ता में रही भाजपानीत राजग सरकार तथा विभिन्न राज्यों में भाजपा सरकारों की उपलब्धियों तथा कांग्रेसनीत संप्रग सरकार की नाकामियों को उजागर करेगी और जनता से आगामी लोकसभा चुनावों में दोनों के कामकाज की तुलना के आधार पर मतदान की अपील करेगी। पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता विजय बहादुर पाठक ने संवाददाताओं को बताया है कि प्रदेश अध्यक्ष लक्ष्मीकांत वाजपेयी की अध्यक्षता में आज हुई प्रदेश पदाधिकारियों की बैठक में तय हुआ है कि मई महीने में पूरी तैयारी के साथ ‘गांव चलो गली चलो’ अभियान के तहत पार्टी कार्यकर्ता एक पत्रक के जरिये जनता को राजग तथा भाजपा सरकारों की उपलब्धियों तथा कांगे्रसनीत संप्रग तथा सपा सरकार की नाकामियों की जानकारी देंगे तथा लोकसभा चुनावों में दोनों के कामकाज की तुलना के आधार पर मतदान की अपील करेंगे। पाठक ने बताया कि लोकसभा चुनावों की तैयारियों को गति देने के लिए वाजपेयी ने आज चुनाव समिति, अनुशासन समिति तथा अन्य समितियों का गठन करके पदाधिकारियों के कार्यो के विभाजन का निर्णय किया है। उन्होने कहा कि पार्टी में 14 अपै्रल को डा. अंबेडकर जयंती को सामाजिक समरसता दिवस के रुप में मनाने का फैसला किया है और तय किया है कि 30 अप्रैल तक सभी बूथ स्तर इकाईयों का गठन कर लिया जायेगा। पाठक ने बताया कि 12 अप्रैल को सहारनपुर के नकुड़ नगर में किसान रैली का आयोजन होगा, जिसे पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजनाथ सिंह संबोधित करेंगे। इसी तरह यह रैली पहली मई को बरेली के देवचरा गांव और 15 मई को लखीमपुर में की जायेगी। भाजपा प्रवक्ता ने बताया कि चित्रकूट में पार्टी की प्रदेश कार्यसमिति में हुए निर्णय के अनुसार लोकसभा चुनाव के मद्देनजर प्रदेश के 200 प्रमुख कार्यकर्ताओं को प्रशिक्षित किया जायेगा, जो बाद में मंडल स्तर के पदाधिकारियों एवं कार्यकर्ताओं को प्रशिक्षित करेंगे और जुलाई माह में प्रदेश के सभी संसदीय क्षेत्रों में कार्यकर्ता सम्मेलन आयोजित किये जायेंगे। उन्होंने बताया कि लोकसभा चुनाव की तैयारियों को गति देने के लिए प्रदेश चुनाव समिति का गठन कर दिया गया है, जिसमें सभी पूर्व प्रदेश अध्यक्ष, विधानमंडल दल के नेता हुकुम सिंह, विधान परिषद में पार्टी के नेता नेपाल सिंह, लखनउ के सांसद लालजी टंडन और महिला मोर्चा की अध्यक्ष कमलावती सिंह सहित 16 सदस्य होंगे।
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12-04-2013, 12:23 PM | #27299 |
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जनता के विचार ध्यान में रख कर हो निर्णय-पॉल
कोलकाता। प्रवासी भारतीय उद्योगपति लार्ड स्वराज पॉल ने कहा कि खुदरा क्षेत्र में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआई) जैसे फैसले एकतरफा नहीं लिये जाने चाहिये और ऐसा करते समय जनता की राय भी ध्यान दिया जाना चाहिए। खुदरा क्षेत्र में एफडीआई की अनुमति दिये जाने के बारे में पूछे गये सवाल पर स्वराज पॉल ने कहा, ‘यूरोप हो, अमेरिका हो या भारत, खुदरा क्षेत्र में एफडीआई का मुद्दा बड़ा भावनात्मक मुद्दा है। आपको लोगों को अपने साथ लेकर चलना होगा। आपको देश की राय साथ लेकर आगे बढना होगा और ऐसे में कोई भी फैसला अलग थलग रहकर नहीं लिया जाना चाहिये।’ स्वराज पॉल ने यहां प्रेस से मिलिये कार्यक्रम के दौरान कहा, ‘आप दिल्ली में बैठकर नियम नहीं बना सकते कि लोगों का क्या करना है। लोकतंत्र में आपको देखना होता है कि लोगों को क्या चाहिये, यह नहीं कि आप क्या चाहते हैं।’ गौरतलब है कि संप्रग-दो सरकार ने बहुब्रांड खुदरा क्षेत्र में एफडीआई की अनुमति का निर्णय लिया है। उसके इस फैसले का उसकी पूर्व गठबंधन सहयोगी तृणमूल कांग्रेस ने विरोध किया। अन्नाद्रमुक और सहरकार का समर्थन करने वाली समाजवादी पार्टी जैसे दलों ने भी इस निर्णय का विरोध किया। वॉलमार्ट और दूसरी बहुराष्ट्रीय कंपनियां लगातार इस बाता पर जोर देती आ रही हैं कि खुदरा क्षेत्र में एफडीआई आने से किसान और उपभोक्ता दोनों को फायदा होगा। इसके विरोध में यह कहा जा रहा है कि इससे बड़ी संख्या में छोटे व्यापारियों का धंधा बंद हो जायेगा। खुदरा में एफडीआई आने के बाद उपभोक्ता वस्तुओं के दाम बहुराष्ट्रीय कंपनियों के नियंत्रण में होंगे बाजार की भूमिका नहीं रह जायेगी।
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टाइटलर के खिलाफ मामला फिर से खोले जाने का स्वागत किया भाजपा ने
नई दिल्ली। भाजपा ने 1984 के सिख विरोधी दंगों के मामले में कांग्रेस नेता जगदीश टाइटलर की कथित संलिप्तता से जुड़े मामले को फिर से खोलने के अदालत के फैसले का स्वागत किया और कहा कि सीबीआई के दुरुपयोग के जरिये मामले को ढकने की कांग्रेस की कोशिश नाकाम हो गयी है। पार्टी प्रवक्ता निर्मला सीतारमण ने संवाददाताओं से कहा, ‘भाजपा अदालत के इस फैसले का स्वागत करती है। लंबे समय से प्रतीक्षित फैसले में अदालत ने कहा कि टाइटलर के खिलाफ मामला फिर से खोला जाना चाहिए। कांग्रेस के लोगों द्वारा किये गये गुनाह का सच 28 साल बाद सामने आएगा। यह स्पष्ट रूप से कांग्रेस प्रायोजित संहार था और एक भी व्यक्ति को दोषी नहीं ठहराया गया है।’ उन्होंने आरोप लगाया कि ‘एकतरफा नरसंहार’ राष्ट्रीय राजधानी में पांच दिन तक चलता रहा और देश के कुछ अन्य हिस्सों में और लंबे समय तक चलता रहा। भाजपा प्रवक्ता ने आरोप लगाया कि दंगों को तत्कालीन प्रधानमंत्री राजीव गांधी से भी शह मिली जिन्होंने इंदिरा गांधी की हत्या के बाद कहा था कि ‘जब बड़ा पेड़ गिरता है तो धरती हिलती है।’ सीतारमण ने कहा, ‘सिखों को कोई राहत नहीं दी गयी है। अब हम संभवत: प्रक्रिया शुरू होते देखेंगे।’ भाजपा ने कहा कि कांग्रेस अपने नेताओं की संलिप्तता तथा सरकार की ओर से कार्रवाई नहीं किये जाने पर इतने दिनों तक चुप रही लेकिन अब ऐसा बर्दाश्त नहीं किया जा सकता। पार्टी ने कहा कि दंगों के दौरान पुलिस और सैन्यकर्मी समय पर नहीं पहुंचे थे। मुख्य विपक्षी दल का आरोप है कि कांग्रेस ने टाइटलर के खिलाफ मामले को ढकने के लिए सीबीआई का दुरुपयोग किया लेकिन नाकाम रही। सीतारमण ने कहा, ‘संप्रग सरकार के शासनकाल में सीबीआई का दुरुपयोग शिखर पर पहुंच गया है। कांग्रेस इस अपराध में शामिल लोगों को बचाने के कभी न समाप्त होने वाले प्रयास करती रही है।’
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