18-10-2011, 09:01 PM | #21 |
Member
Join Date: Oct 2011
Posts: 244
Rep Power: 14 |
Re: वाल स्ट्रीट पर कब्जा करो।
|
18-10-2011, 09:08 PM | #22 |
Member
Join Date: Oct 2011
Posts: 244
Rep Power: 14 |
Re: वाल स्ट्रीट पर कब्जा करो।
पिछले कुछ वर्षो में भवन निर्माण वित्तीय शक्ति के संदर्भ में वाल स्ट्रीट अमरीका में कुख्यात हो गया है. न्यूयॉर्क में वाल स्ट्रीट के सामने कुछ लोगों द्वारा शुरू किया गया प्रदर्शन देखते ही देखते अमरीका के कोने-कोने में फैल गया. 'वाल स्ट्रीट पर कब्जा करो' के नारे के साथ शुरू हुआ जन आंदोलन लाभ के निजीकरण और घाटे के सामाजीकरण की अवधारणा के खिलाफ गुस्से की अभिव्यक्ति है.
आर्थिक नीतियों और राहत पैकेज का लाभ अमरीका की मात्र एक प्रतिशत जनता को ही मिला है. अनुमान है कि अमरीका के चार सौ धनी परिवारों का देश की कुल आर्थिक संपदा के 50 फीसदी पर कब्जा है. राजनीतिक दलों और सत्तारूढ़ कुलीन तबके के खिलाफ लोग शांति मार्च निकाल रहे हैं. उद्योगपतियों के हाथों में होने के कारण मीडिया घराने भी इन विरोध प्रदर्शनों को अधिक कवरेज नहीं दे रहे हैं. 'हम 99 प्रतिशत हैं' युवाओं में यह नारा लोकप्रिय हो रहा है. दूसरी आर्थिक मंदी के कारण बढ़ती बेरोजगारी लोगों के गुस्से की आग में ईंधन का काम रही है. वाल स्ट्रीट पर कब्जा करो अभियान एक ऑस्ट्रेलियन वैज्ञानिक द्वारा मौत की चेतावनी जारी करने के एक साल बाद शुरू हुआ है. ऑस्ट्रेलियन नेशनल यूनिवर्सिटी में माइक्रोबायोलॉजी के प्रोफेसर फ्रेंक फैनर ने दावा किया है कि मानव जाति जनसंख्या विस्फोट से पैदा हुए बेकाबू उपभोग के कारण अपना अस्तित्व नहीं बचा पाएगी और आने वाले सौ सालों में खत्म हो जाएगी. साथ ही कुछ अन्य जीव-जंतुओं का अस्तित्व भी समाप्त हो जाएगा. अनियंत्रित उपभोग स्टॉक मार्केट की बुनियाद है. यह प्राकृतिक संसाधनों, जलवायु, प्रकृति और साथ ही मानव जाति के खिलाफ हिंसक व्यवहार करता है. यह प्राकृतिक, भौतिक और वित्तीय संसाधनों को गरीबों से छीनकर अमीरों की झोली में डाल देता है. वैश्वीकरण एकाधिकार नियंत्रण को और मजबूत करने का औजार बन गया है. इन सबके खिलाफ ही अमरीकी जनता उठ खड़ी हुई है. वित्तीय बाजार पहले अर्थशास्त्रियों को अपने पक्ष में करता है और फिर मीडिया को भी लपेटे में ले लेता है. अर्थशास्त्री नियम बनाते हैं. वे सकल घरेलू उत्पाद को विकास का संकेतक बताते हैं. वे इसे इतनी सफाई से बताते हैं कि हम व्यक्तिगत संपदा को राष्ट्रीय विकास के संकेतक के रूप में स्वीकार कर लेते हैं. वे हर चीज को यहां तक कि वैश्विक जलवायु को भी खरीद-फरोख्त और दोहन का विषय बना देते हैं. जब विश्व का जीडीपी में भरोसा कायम हो गया तो बड़े अर्थशास्त्रियों और सलाहकार फर्मो ने स्टॉक मार्केट का हवामहल खड़ा कर दिया. मेरे ख्याल से हालिया वर्षो में अनियंत्रित उपभोग की प्रक्रिया को तीव्र करने में सबसे बड़ा योगदान वाल स्ट्रीट का रहा है. सलाहकार फर्मे यह स्वीकार करने से इंकार करेंगी, किंतु यह कारण स्पष्ट है कि फैनर ने मानव जाति के अस्तित्व के अंत की जो चेतावनी जारी की थी उसका कारण स्टॉक मार्केट ही बनेगा. मुझे स्टॉक मार्केट की कार्यपद्धति को देखकर हैरानी होती है. इन बाजारों ने हर चीज का उपभोगीकरण कर दिया है. पर्यावरण की अधिकांश बुराइयों के पीछे भी स्टॉक मार्केट का प्रत्यक्ष हाथ है. स्टॉक मार्केट पानी की हर बूंद और अन्य तमाम प्राकृतिक संसाधनों को चूस लेगा. हर चीज की कीमत है, यहां तक कि जिस हवा में आप सांस लेते हैं उसकी भी. निश्चित तौर पर स्टॉक मार्केट लंबे समय तक नहीं टिक पाएंगे. 2008-09 में जो आर्थिक संकट पैदा हुआ था, वह इसी स्टॉक मार्केट की व्यवस्थित विफलता का नतीजा था, किंतु यह मामला इतनी बड़ी रकम का है कि सबसे ताकतवर सरकारें भी दोषपूर्ण व्यवस्था को बदलने को तैयार नहीं हैं. वैश्विक जगत में आर्थिक राहत पैकेज एक अनिवार्य बुराई बन गया है. आर्थिक संकट के जिम्मेदार भ्रष्ट बैंकर्स और हेज फंड मैनेजरों में से किसी को भी जेल नहीं भेजा गया है. इस तरह का अनियंत्रित उपभोग विश्व के अंत की शुरुआत बन जाएगा. वास्तव में यह प्रक्रिया पहले ही शुरू हो चुकी है. केवल अर्थशास्त्री इसे देखने से इंकार करते हैं, क्योंकि अर्थशास्त्रियों को चुप रहने के लिए पैसा दिया जाता है, इसलिए मीडिया भी इस बुराई को स्वीकार नहीं करता. स्टॉक मार्केट खुद ही आर्थिक विकास के संकेतक बन गए हैं. जब आर्थिक लाभ केवल अमीर लोग ही उठाएंगे तो आम जनता को इसके कारण भड़की हिंसा के बीच ही रहना होगा. न्यूयॉर्क में एक प्रदर्शनकारी डेनियल ब्रूक का कहना है, 'यह एक ऐसा देश है जहां 90 प्रतिशत संपदा पर मात्र एक प्रतिशत लोगों का कब्जा है.' इसी अन्याय के खिलाफ आज आम अमरीकी उठ खड़ा हुआ है. अगर वाल स्ट्रीट पर कब्जा करने में लोग सफल हो गए तो यह आर्थिक स्वतंत्रता और न्याय का चेहरा बदल देगा. |
19-10-2011, 08:20 PM | #23 |
Super Moderator
Join Date: Nov 2010
Location: Sherman Oaks (LA-CA-USA)
Posts: 51,823
Rep Power: 182 |
Re: वाल स्ट्रीट पर कब्जा करो।
संयुक्त राष्ट्र महासचिव बान की मून ने कल 'वाल स्ट्रीट पर कब्ज़ा करो' आन्दोलन के दुनियाभर में फैलने पर चिंता प्रकट करते हुए यूरोपीय नेताओं को सतर्क किया था ! उससे कोई सबक नहीं लेते हुए अमेरिका के राष्ट्रपति बराक ओबामा ने एक दिन बाद ही आज आन्दोलन का उपहास करते हुए इसे 'एक टी पार्टी' की तरह बताया है ! उन्होंने कहा कि 'वाल स्ट्रीट' तथा 'कंजरवेटिव टी पार्टी' आन्दोलनों में काफी समानता दिखती है, जो अमेरिकी राजनीतिक परिदृश्य पर हावी है ! इन प्रदर्शनों में अभिव्यक्त हो रही निराशा को मैं समझ रहा हूं, किन्तु ये प्रदर्शन उन टी पार्टियों में प्रकट किये जाने वाले विरोध एवं निराशा से ज्यादा अलग नहीं हैं !
__________________
दूसरों से ऐसा व्यवहार कतई मत करो, जैसा तुम स्वयं से किया जाना पसंद नहीं करोगे ! - प्रभु यीशु |
19-10-2011, 08:56 PM | #24 |
Exclusive Member
|
Re: वाल स्ट्रीट पर कब्जा करो।
अपने पल्ले तो भाई लोगो इतनी उँची लेवल की बातेँ आती ही नहीँ
अपना तो एक फंडा हैँ मिले तो खाकर शुक्र अदा करो नहीँ मिले तो शब्र करो
__________________
दोस्ती करना तो ऐसे करना जैसे इबादत करना वर्ना बेकार हैँ रिश्तोँ का तिजारत करना |
19-10-2011, 09:03 PM | #25 |
Super Moderator
Join Date: Nov 2010
Location: Sherman Oaks (LA-CA-USA)
Posts: 51,823
Rep Power: 182 |
Re: वाल स्ट्रीट पर कब्जा करो।
ऐसा नहीं है, मित्र ! इसमें बड़ी बातों का प्रश्न नहीं है ! आर्थिक मुद्दे अर्थशास्त्र पढ़े-लिखे व्यक्ति ही समझ सकते हैं अथवा उन देशों के निवासी जहां की आर्थिक स्थिति को वहां की सरकारी नीतियों ने तबाह कर दिया है !
__________________
दूसरों से ऐसा व्यवहार कतई मत करो, जैसा तुम स्वयं से किया जाना पसंद नहीं करोगे ! - प्रभु यीशु Last edited by Dark Saint Alaick; 20-10-2011 at 11:36 PM. |
19-10-2011, 10:20 PM | #26 | |
Exclusive Member
|
Re: वाल स्ट्रीट पर कब्जा करो।
Quote:
जमीन का सीना चीड कर फसल उगाना अपना काम हैँ बोले तो जय किसान
__________________
दोस्ती करना तो ऐसे करना जैसे इबादत करना वर्ना बेकार हैँ रिश्तोँ का तिजारत करना |
|
19-10-2011, 10:41 PM | #27 |
Special Member
|
Re: वाल स्ट्रीट पर कब्जा करो।
विस्तार पूर्वक समझाने के लिए संजीव कुमार जी का बहुत आभार
पर भाई लोग ये तो सीधे सीधे अपने(मेरे) पेट पट लात है
__________________
घर से निकले थे लौट कर आने को मंजिल तो याद रही, घर का पता भूल गए बिगड़ैल |
19-10-2011, 11:17 PM | #28 | |
Administrator
|
Re: वाल स्ट्रीट पर कब्जा करो।
Quote:
ऐसा कब तक होगा की मुकेश अम्बानी जैसे लोग २००० करोड़ रुपैये से बने घरो में रहे और उसके नजदीक ही लाखो लोग झुग्गी झोपड़ियो में गूट गूट कर जिए.
__________________
अब माई हिंदी फोरम, फेसबुक पर भी है. https://www.facebook.com/hindiforum |
|
20-10-2011, 12:12 AM | #29 |
Super Moderator
Join Date: Nov 2010
Location: Sherman Oaks (LA-CA-USA)
Posts: 51,823
Rep Power: 182 |
Re: वाल स्ट्रीट पर कब्जा करो।
आपने सही कहा मित्र ! आज समाचार पत्रों में खबर है कि अब शराब व्यवसायी विजय माल्या अपने और सम्बन्धियों के रहने के लिए बेंगलूरू के मध्य के एक पॉश इलाके में एक ऎसी इमारत बनाने जा रहे हैं, जो मुम्बई में बने अम्बानी के भव्य आवास 'एंटिला' को पीछे छोड़ देगी ! निश्चय ही ऐसे समाचार इस देश की अधिकाँश जनता को हर्षित तो कतई नहीं कर सकते ... और फिर इसका अंत वही होगा, जो जारकालीन रूस का हुआ था !
__________________
दूसरों से ऐसा व्यवहार कतई मत करो, जैसा तुम स्वयं से किया जाना पसंद नहीं करोगे ! - प्रभु यीशु |
13-11-2011, 11:25 PM | #30 |
Super Moderator
Join Date: Nov 2010
Location: Sherman Oaks (LA-CA-USA)
Posts: 51,823
Rep Power: 182 |
Re: वाल स्ट्रीट पर कब्जा करो।
आज फिर हुआ प्रदर्शन !
__________________
दूसरों से ऐसा व्यवहार कतई मत करो, जैसा तुम स्वयं से किया जाना पसंद नहीं करोगे ! - प्रभु यीशु |
Bookmarks |
|
|