13-11-2011, 07:30 AM | #1 |
अति विशिष्ट कवि
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इश्क की डगर
इक जूनून है दिल में , इश्क की डगर में हूँ . गुनगुने नशे - जैसा , बह रहा हूँ रग - रग में ; इक हसीँ की धड़कन में , सरगमों के रथ पे हूँ . गुलबदन की चाहत हूँ , ख़ुश्बुओं को जीता हूँ ; तितलियों के रंग लेकर , ख़ुशनुमा सफ़र में हूँ . चौदहवीं की रातों में , गुलमोहर की शाखों पे ; पुरवा से डोल रहे , चाँद की नज़र में हूँ . पर्वतों का झरना था , पत्थरों से जूझा हूँ , आज तो मै दरिया हूँ , कल का मै समन्दर हूँ . मुफ़लिसी थी रिश्तों की , धूप वो भी काटी है , गेसुओं के साए अब , इन दिनों सिकन्दर हूँ . रास्ते का ज़र्रा था , आसमाँ में उड़ता हूँ ; आँधियों की रहमत है , कुछ दिनों की ग़फलत हूँ . रचयिता ~~~डॉ. राकेश श्रीवास्तव विनय खण्ड -2,गोमती नगर ,लखनऊ . |
13-11-2011, 08:10 AM | #2 | |
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Re: इश्क की डगर
Quote:
एक और शानदार प्रस्तुती के लिए आभार !
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मांगो तो अपने रब से मांगो; जो दे तो रहमत और न दे तो किस्मत; लेकिन दुनिया से हरगिज़ मत माँगना; क्योंकि दे तो एहसान और न दे तो शर्मिंदगी। |
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13-11-2011, 09:36 PM | #3 |
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Re: इश्क की डगर
Bahut sundar....lajawab prastuti rakesh ji....ek aashiq ke man ki udan ko bade hi rumani andaz me pesh kiya aapne....manovigyan bhi kishoro or nabaliko ke prem ko samajha to sakta hai ... Par ek vyask prem ki jatilata ko bata pane me asamarth hi hai...apki ye kavita kafi achi lagi...
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ये दिल तो किसी और ही देश का परिंदा है दोस्तों ...सीने में रहता है , मगर बस में नहीं ...
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13-11-2011, 10:54 PM | #4 |
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Re: इश्क की डगर
रणवीरजी के कथन के बाद कहने को कुछ बचा नहीं; इसलिए बस, इतना ही - अति श्रेष्ठ सृजन, डॉ. साहब ! आभार !
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दूसरों से ऐसा व्यवहार कतई मत करो, जैसा तुम स्वयं से किया जाना पसंद नहीं करोगे ! - प्रभु यीशु |
14-11-2011, 07:01 AM | #5 |
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Re: इश्क की डगर
इश्क मोहब्बत और प्यार करने वालो के राकेश जी के तरफ से नायब थोहफा है यह कविता..
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अब माई हिंदी फोरम, फेसबुक पर भी है. https://www.facebook.com/hindiforum |
14-11-2011, 07:13 AM | #6 |
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Re: इश्क की डगर
राकेश जी आप तो एक बहुत ही अच्छी कवितायें लिखते हैं.
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15-11-2011, 01:33 PM | #7 |
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Re: इश्क की डगर
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15-11-2011, 01:45 PM | #8 | |
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Re: इश्क की डगर
Quote:
कोई रचनाकार जितना डूब कर लिखता है , यदि कोई पाठक उतनी ही गहराई से विश्लेषण भी करता है तो अच्छा लगता है . आपका शुक्रिया . |
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15-11-2011, 01:49 PM | #9 |
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Re: इश्क की डगर
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15-11-2011, 01:50 PM | #10 |
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Re: इश्क की डगर
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